IPS सफलता की कहानी- इस लेडी अफसर के नाम से खौफ खाते हैं अपराधी, फिल्मों में भी कर चुकी हैं काम

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IPS सफलता की कहानी- इस लेडी अफसर के नाम से खौफ खाते हैं अपराधी, फिल्मों में भी कर चुकी हैं काम
गौरव रक्षक/ राजेंद्र शर्मा

जुलाई 0 31

IPS success story
सिमाला के नाम से खौफ खाते हैं अपराधी, फिल्मों में भी कर चुकी हैं काम, जानें सफलता की कहानी

दोस्तों जिंदगी में तो हर कोई सफल होना चाहता है. लेकिन कई लोगों के लिए सफलता तो जैसे एक हसीन ख्वाब बनकर ही रह जाती है. लेकिन हम आपके लिए  आईपीएस सिमाला की सफलता को लेकर आए हैं.
हमें यकीन है उन्हें पढ़कर आपके मन में जीतने का जज्बा जरूर बढ़ेगा. और आप सफलता को छूने के लिए बिल्कुल तैयार हो जाओगे.अपनी जिंदगी को आप अपनी दिल की आवाज सुनकर ही जीना चाहते हो. लेकिन इस कहानी के साथ साथ आपके मन का आत्मविश्वास भी बहुत महत्वपूर्ण होता है ।
आप जब भी अपने किसी काम को पूरा करने के लिए जाते हो. तब आपके मन में उस काम के प्रति पूरा विश्वास होना बहुत ही महत्वपूर्ण होता है. ताकि आप उस काम को पूरी तरह से कामयाब तरीके से कर सको.
लेकिन अगर आपके मन में उस काम के प्रति जरा भी शक हो. तो आपका वह काम पूरा नहीं हो सकता है. और जो लोग अपने हुनर के साथ अपने काम को पूरा करते हैं. सफलता उनकी साथ ही होती है. वह अपने काम को जरूर पूरा कर पाते हैं. और उसी तरह से जो मुश्किल घड़ी में अपने मन पर काबू कर पाते हैं. वो ही जीतते हैं यानी सफल होते है ।

IPS success story
आईपीएस ऑफिसर सिमाला प्रसाद ने अपनी पढ़ाई सेंट जोसफ कोएड स्‍कूल से शुरू की थी. इसके बाद उन्होंने ‘स्‍टूडेंट फॉर एक्‍सीलेंस’ से बीकॉम किया और फिर भोपाल के बरकतउल्ला यूनिवर्सिटी से सोशियोलॉजी में पीजी किया. वे गोल्ड मेडलिस्ट रही हैं.
नई दिल्ली. संघ लोक सेवा आयोग की सिविल परीक्षा में सफल होने वाले अभ्यर्थियों की कहानी अन्य के लिए प्रेरणा स्त्रोत बन जाती है. इसके पीछे की वजह उनकी मेहनत और लगन होती है. ऐसी ही कहानी आईपीएस अफसर सिमाला प्रसाद की है. सिमाला का जन्म 8 अक्टूबर 1980 को मध्य प्रदेश की राजधानी भोपाल हुआ था. वह मध्य प्रदेश कैडर की आईपीएस अधिकारी हैं. सिमाला नक्सली क्षेत्र में अपने बेखौफ अंदाज के लिए जानी जाती हैं.
बरकतउल्ला यूनिवर्सिटी से पोस्ट ग्रेजुएट हैं सिमाला
आईपीएस ऑफिसर सिमाला प्रसाद ने अपनी पढ़ाई सेंट जोसफ कोएड स्‍कूल से शुरू की थी. इसके बाद उन्होंने ‘स्‍टूडेंट फॉर एक्‍सीलेंस’ से बीकॉम किया और फिर भोपाल के बरकतउल्ला यूनिवर्सिटी से सोशियोलॉजी में पीजी किया. वे गोल्ड मेडलिस्ट रही हैं.

DSP के पद पर भी कर चुकी हैं काम

आईपीएस बनने से पहले सिमाला पीएससी परीक्षा पास करने के बाद पहली पोस्टिंग डीएसपी के तौर पर मिली थी. उसी दौरान यानि कि 2010 में उन्होंने यूपीएससी की परीक्षा पास की और आईपीएस ऑफिसर बन गईं

नई दिल्ली. संघ लोक सेवा आयोग की सिविल परीक्षा में सफल होने वाले अभ्यर्थियों की कहानी अन्य के लिए प्रेरणा स्त्रोत बन जाती है.

इसके पीछे की वजह उनकी मेहनत और लगन होती है. ऐसी ही कहानी आईपीएस अफसर सिमाला प्रसाद की है. सिमाला का जन्म 8 अक्टूबर 1980 को मध्य प्रदेश की राजधानी भोपाल हुआ था. वह मध्य प्रदेश कैडर की आईपीएस अधिकारी हैं. सिमाला नक्सली क्षेत्र में अपने बेखौफ अंदाज के लिए जानी जाती हैं.
सेल्फ स्टडी के दम पर हासिल की सफलता
डीएसपी के पद पर रहने के साथ ही वे यूपीएससी परीक्षा (UPSC Exam) की तैयारी करती रहीं. सेल्फ स्टडी करके अपने पहले ही प्रयास में उन्होंने परीक्षा पास कर ली थी. सिमाला का मानना है कि सिविल सर्विसेज परीक्षा को सही गाइडेंस और सेल्फ स्टडी के दम पर पास किया जा सकता है. हालांकि इसको लेकर अभ्यर्थियों को सबसे पहले सिलेबस और एग्जाम पैटर्न का एनालिसिस करना पड़ेगा.
सिमाला पर बन चुकी है फिल्म
सिमाला प्रसाद ने फिल्म अलिफ में शम्मी का रोल निभाया है. इस फिल्म में मदरसे से स्कूल तक की कहानी को दर्शाया गया है. ये फिल्म तालीम की अहमियत को अच्छे तारीके रिप्रजेंट करती है. यह फील्म नवंबर 2016 में इंडियन इंटरनेशनल फिल्म फेस्टिवल ऑफ क्वींसलैंड में बतौर प्रीमियर प्रदर्शित हुई और फरवरी 2017 में रिलीज हुई थी

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